दोआबा न्यूजलाईन

(पूजा मेहरा) : नगर निगम चुनाव होने के बाद सभी को हाउस मीटिंग का इन्तजार था, लेकिन आम आदमी पार्टी की सरकार बनने के बाद पहली हाउस मीटिंग बेनतीजा रही। क्योंकि आप, कांग्रेस और भाजपा पार्षदों ने जमकर हंगामा किया। बताते चले कि जालंधर नगर निगम के पार्षद हाउस की बैठक दोपहर 3 बजे रेडक्रॉस भवन में शुरू हो गई थी। मेयर वनीत धीर ने इस बैठक की अध्यक्षता की। जिसमें नगर निगम कमिश्नर गौतम जैन, सीनियर डिप्टी मेयर, डिप्टी मेयर सहित कई अधिकारी मौजूद रहे। हाउस मीटिंग शुरू होने के कुछ समय बाद ही विपक्षी पार्षदों ने आप सरकार के खिलाफ नारे लगाने शुरू कर दिए। मेयर और सीनियर डिप्टी मेयर ने माहौल को शांत करने की कोशिश की, लेकिन माहौल शांत नहीं हुआ, जिसके बाद मेयर वनीत धीर ने ऐसे ही मतों को पास कर दिया। 3:00 बजे शुरू हुई मीटिंग को करीब 1 घंटे में ही निपटा दिया गया। इसके बाद जहां आप के पार्षदों द्वारा आम आदमी पार्टी जिंदाबाद के नारे व विपक्ष के पार्षदों द्वारा मुर्दाबाद के नारे लगाने शुरूं कर दिए। इन नारों की गूंज के दौरान मेयर, नगर निगम कमिश्नर, सीनियर डिप्टी मेयर सहित अन्य अधिकारी वहां से चले गए।
मेयर वनीत धीर ने हाउस मीटिंग शुरू करने से पहले सभी पार्षदों को बधाई दी। आगे उन्होंने कहा कि मेरी 70 दिन की वर्किंग में मै सभी वार्ड में घूम रहा हु। सबसे ज्यादा समस्या सीवरेज, गंदे पानी, स्ट्रीट डॉग, स्ट्रीट लाइट्स की आ रही है, इसी के चलते नगर निगम सीवरेज की समस्या को दूर करने के लिए मेन लाइन में सुपरसेक्शन मशीन टेंडर लाने जा रहा है। इसमें मेन लाइन को साफ़ किया जायेगा, जिसके बाद लोगो को सीवरेज की समस्या से निजात मिलेगी। ज्यादा आबादी वाले वार्ड में पार्षदों को ई-कनेक्शन लाने के लिए कहा है, ऐसा करने से काफी हद तक सीवरेज की समस्या से छुट्टी मिलेगी।
आगे मेयर बोले-हम 6 जेसीबी मशीन लेने जा रहे है। चारों हलकों में अब रोड स्वीपिंग मशीन से काम किया जायेगा। जालंधर को नए 1196 सफाईकर्मी मिलने जा रहे है। सुंदरता को देखते हुए शहर में बने जगह-जगह कूड़े के डंपों को कवर किया जायेगा। 110 नई बलेरो गाड़िया हर पार्षद को दी जाएगी, ताकि वार्ड में से कूड़े की लिफ्टिंग करने में आसानी हो। सफाईकर्मियों के लिए 300 रेहड़ी लेने जा रही है। गौरतलब है कि जालंधर की हद तक पड़ती नहरों को भी साफ़ किया जायेगा।
दूसरी और विपक्षी नेताओं ने कहा की मेयर साहब आप वादे कर देते है, लेकिन उन्हें पूरा नहीं किया जाता। ऐसा कब तक चलेगा।
